Rajasthan Upcoming Vacancy 2025: शिक्षा विभाग में 1.14 लाख पद खाली, 58 हजार शिक्षक और 24 हजार चपरासी भर्ती का इंतजार

Rajasthan Upcoming Vacancy 2025: राजस्थान के शिक्षा विभाग में नियमित भर्तियों के अभाव में 41 कैडरों में 4.07 लाख पदों में से 1.14 लाख पद खाली होने से व्यवस्थाएं चरमराई हुई हैं। शिक्षकों में प्रधानाचायों से लेकर तृतीय श्रेणी शिक्षकों तक अलग-अलग लेवल के 58 हजार से अधिक पद खाली पड़े हैं। फिर भी 20 प्रतिशत से भी कम पद भरने की प्रक्रिया हो रही है। इसी तरह से चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों के 24 – हजार से अधिक पदों को भरने का इंतजार है।

Rajasthan Upcoming Vacancy 2025
Rajasthan Upcoming Vacancy 2025

इसके साथ ही उच्च स्तर से लेकर निम्न स्तर तक के कई संवगों में भी लंबे समय से भर्तियां नहीं होने से व्यवस्थाएं गड़बड़ाई हुई हैं। शिक्षा विभाग के प्रशासनिक प्रतिवेदन में रिक्त पदों की स्थिति की जानकारी दी गई है। इसमें छात्र-छात्राओं के नामांकन की स्थिति, शिक्षक प्रशिक्षण, पदोन्नति सहित विभिन्न संवगों के स्वीकृत, कार्यरत व रिक्त पदों की जानकारी दी गई है।

Rajasthan Upcoming Vacancy 2025:

शैक्षणिक व अशैक्षणिक 41 कैडरों में कुल 4 लाख 7 हजार 817 में से 1 लाख 14 हजार 597 पद खाली हैं। इनमें उपनिदेशक स्तर के 25 पद, जिला शिक्षा अधिकारी के 316 पद, प्राचार्य व समकक्ष 8174 पद, उप प्राचार्य व समकक्ष 5867 पद रिक्त हैं। प्राध्यापक स्कूल शिक्षा के 20,431 पद खाली हैं।

इसी तरह से वरिष्ठ अध्यापक के 32, 193 पद, वरिष्ठ शारीरिक शिक्ष अध्यापक के 1599 पद, अध्यापक लेवल टूके के 2033 पद, अध्यापक लेवल वन के 375 पद और शारीरिक शिक्षा अध्यापक के 808 पद खाली पड़े हैं।

बेसिक कम्प्यूटर अनुदेशक के 3542 पद, पूर्व प्राथमिक शिक्षा अध्यापक 353 पद, अतिरिक्त प्रशासनिक अधिकारी के 1026, सहायक प्रशासनिक अधिकारी के 1170 और वरिष्ठ सहायक के 1402 पद, कनिष्ठ सहायक के 6293 पद खाली हैं। चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी के 23,948 पद, जमादार के 450 पद और प्रयोगशाला परिचायक के 1278 पद रिक्त हैं।

प्रदेश में भर्तियों के बाद में सर्वाधिक चतुर्थ श्रेणी कर्मी शिक्षा विभाग को मिलेंगे। इसके अलावा अध्यापक व अन्य पदों को भरने की प्रक्रिया भी जारी है।

74% चपरासियों के पद खाली:

जोधपुर में शिक्षा विभाग में 1248 पद चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों के स्वीकृत हैं। इसमें करीब 925 खाली पड़े हैं। महज स्कूलों में 323 ही पद भरे हुए हैं। इन स्थितियों में विद्यार्थी अक्सर साफ-सफाई करते नजर आते हैं।

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